KRISHNA STORY FOR KIDS

KRISHNA STORY FOR KIDS BACCHO KE LIYE KRISHNA KI KAHANI krishna story for kids in hindi श्री कृष्ण की कहानियां बच्चों के लिए

श्री कृष्ण की 11 कहानियां बच्चों के लिए

कहानियां बच्चों के मन मस्तिष्क पर गहन छाप छोड़ती है। कहानियां सुनकर उन्हें नैतिक मूल्यों और समस्याओं से कैसे सामना करना है यह सिखने को मिलता है।‌‌ हमें अपने बच्चों को अपने देवी-देवताओं की भी कहानियां सुनानी चाहिए। इससे वह अपने धर्म और संस्कृति से जुड़े रहते हैं। 

इस आर्टिकल में हम भगवान विष्णु के आठवें अवतार कृष्ण की कहानियां(krishna stories for kids) लिखने जा रहे है। 

1.श्री कृष्ण की जन्म कथा 

Krishna birth Story story for kids: श्री कृष्णा ने माता देवकी और वासुदेव के पुत्र के रूप में जन्म लिया था। जब माता देवकी का विवाह वासुदेव जी के साथ हुआ। उस समय श्री कृष्ण का मामा कंस रथ में बिठाकर देवकी को छोड़ने जा रहा था। उसे समय आकाशवाणी हुई कि देवकी और वासुदेव की आठवीं संतान कंस का वध करेगी। 

इतना सुनते ही कंस ने श्री कृष्ण के माता-पिता को जेल में डाल दिया। उसके पश्चात कंस ने देवकी और वसुदेव के छः पुत्रों को मार डाला। सातवें पुत्र को योग माया ने वासुदेव जी की दूसरी पत्नी रोहिणी के गर्भ में स्थानांतरित कर दिया। उनका नाम बलराम रखा गया। 

आठवें पुत्र के रूप में श्री कृष्ण का जन्म हुआ। उस समय जेल में अलौकिक प्रकाश फैल गया। उस समय आकाशवाणी हुई कि इस बालक को गोकुल छोड़ आओ। जेल के द्वार जादुई रूप से खुल गए और पहरे दार गहरी नींद में सो गए। 

2.वासुदेव जी का श्री कृष्ण को गोकुल छोड़कर आना 

krishna story for kids in hindi:वासुदेव जी श्री कृष्ण को टोकरी में रखकर गोकुल की ओर चल पड़े। रास्ते में यमुना नदी पार पड़ती थी। जब वासुदेव जी यमुना नदी पार कर रहे थे, तब नदी अपने उफान पर थी। यमुना नदी श्री कृष्ण के दर्शन करना चाहती थी। इसलिए श्री कृष्ण ने अपने पांव‌ का अंगूठा टोकरी से बाहर निकल दिया। श्री कृष्ण के चरणों का स्पर्श पाते ही नदी शांत हो गई।

 वासुदेव जी श्री कृष्ण को लेकर गोकुल पहुंचे। वह नंद और यशोदा की पुत्री योग माया से श्री कृष्ण को बदल‌ लाए। उसके पश्चात जेल के द्वार अपने आप बंद हो गए और पहरेदार जाग गए। योगमाया के रोने की आवाज सुनकर कंस ने उसे मारना चाहा। लेकिन योगमाया हवा में उड़ गई और उसने कंस को बता दिया कि तुम को मारने वाला गोकुल में पैदा हो चुका है।‌‌ 

3.श्री कृष्ण द्वारा पुतना का वध की कहानी

lord krishna story for kids:श्री कृष्ण के मामा को जब पता चला कि मुझे मारने वाला गोकुल में पैदा हो चुका है। कंस ने श्री कृष्ण को मारने के लिए पुतना नाम की राक्षसी को भेजा। पुतना रूप बदलने में माहिर थी। उसने एक सुंदर और मनमोहक स्त्री का रूप धारण कर लिया। वह श्री कृष्ण को मारने की इच्छा से नंद बाबा के घर पर पहुंच गई। 

उसके रूप को देखकर किसी ने भी उसे श्री कृष्ण को गोद में उठाने से मना नहीं किया। वह श्री कृष्ण को लेकर हवा में उड़ गई और अपने वास्तविक रूप में आ गई। उसने अपने स्तनों पर विष लगाया हुआ था। 

उसने जैसे ही श्री कृष्ण को दूध पिलाना चाहा। उसके जहर से श्री कृष्ण को कुछ नहीं हुआ। उल्टा श्री कृष्ण ने उसके प्राण हर लिए। उसने श्री कृष्ण को दूध पिलाया था। इसलिए श्री कृष्ण ने मां का दर्जा देते हुए उसे मुक्ति प्रदान की।

4. श्री कृष्ण के दर्शन करने भगवान शिव का आना 

lord krishna short stories for kids: भगवान शिव को पता चला कि भगवान विष्णु ने कृष्ण के रूप में गोकुल में जन्म लिया है। वह एक योगी का रूप धारण कर श्री कृष्ण के दर्शन करने पहुंच गए। भगवान शिव ने नंद बाबा के द्वार पर जाकर भिक्षा के लिए आवाज लगाई। भिक्षा देने जब मां यशोदा आई तो भगवान शिव कहा- कि मैं आपके बालक को देखना चाहता हूं। 

 लेकिन मां यशोदा ने भगवान शिव की वेश-भूषा देखकर इंकार कर दिया। वह कहने लगी कि आपके गले के सांप, तन पर बाघाम्बर और आपका रूप देखकर मेरा लला डर जाएगा। भगवान शिव ने बहुत अनुनय-विनय की लेकिन मां यशोदा नहीं मानी। 

भगवान शिव में नंद बाबा के द्वार के समीप डेरा लगा कर बैठ गए। उन्होंने भी जिद्द पकड़ ली। आज श्री कृष्ण के दर्शन बिना नहीं जाउंगा। श्री कृष्ण मंद-मंद मुस्कुरा रहे थे कि उधर भगवान शिव और इधर मां यशोदा जिद्द पर अड़ गई है। अब मुझे ही कुछ करना होगा। 

श्री कृष्ण ने जोर-जोर से रोना शुरू कर दिया। मां यशोदा ने हर प्रयास कर लिया श्री कृष्ण को चुप करवाने का। लेकिन उनका रोना शांत नहीं हुआ। 

फिर मां यशोदा ने किसी साधू से श्री कृष्ण को शांत करवाने का उपाय पूछा। वह कहने लगे कि, "कुछ समय पहले जो योगी आया था, वह बहुत सिद्ध है। उसके दर्शन करवाने से तुम्हारा लला शांत हो जाएगा।"

 मां यशोदा ने तुरंत भगवान शिव को भीतर बुलाया और श्री कृष्ण को उनकी गोद में ले दिया। अब भगवान शिव ने जी भर श्री कृष्ण ने दर्शन किए और उनको देखकर श्री कृष्ण का रोना भी शांत हो गया।

5. श्री कृष्ण द्वारा माखन चोरी करना 

krishna story for kids:श्री कृष्ण बचपन में बहुत शरारती थे। उनको माखन बहुत पसंद था। वह चोरी करके स्वयं तो माखन खाते साथ में अपने सखाओं और बंदरों को भी खिलाते। वह चोरी छिपे गोपियों के घर में घुस जाते और माखन दही चुरा कर खा जाते। जब गोपियां मां यशोदा से शिकायत करती से मुकर जाते कि मां मैंने तो चोरी नहीं की। 

एक बार मां यशोदा ने श्री कृष्ण के एक सखा से कहा कि जब कृष्ण चोरी करे तो उसे पकड़ कर मुझे आवाज लगा देना। उसके बदले में तुम को माखन दूंगी। अगली बार जब श्री कृष्ण माखन चुराने लगे तो उसने मां यशोदा को आवाज लगा दी। जैसे ही मां यशोदा पकड़ने दौड़ी श्री कृष्ण हाथ छुड़ा कर भाग गए। मां यशोदा छड़ी लेकर पीछे दौड़ी और श्री कृष्ण को पकड़ कर अच्छी डांट लगाई। 

6. मां यशोदा का श्री कृष्ण को ओखली से बांधना 

बच्चों के लिए श्री कृष्ण की कहानी: एक दिन श्री कृष्ण की शरारतों से तंग आकर मां यशोदा ने श्री कृष्ण को रस्सी से बांधना चाहा। लेकिन मां यशोदा जिस भी रस्सी से श्री कृष्ण को बांधती वह रस्सी छोटी पड़ जाती। 

ऐसा करते रहते मां यशोदा ने बहुत सी रस्सियों को बांध दिया लेकिन रस्सी फिर भी छोटी ही रह जाती। लेकिन जब श्री कृष्ण ने देखा कि मां थक गई है तो वह रस्सी से बंध गए। 

मां यशोदा श्री कृष्ण को ओखली से बांध कर अपने काम में लग गई। श्री कृष्ण ओखली खींच कर आंगन में लगे यमलार्जुन वृक्षों तक ले गए। उन्होंने ओखली को दोनों वृक्षों में अड़ा कर जोर से झटका दिया। जिससे दोनों वृक्ष उखड़ कर नीचे गिर गए। उन वृक्षों से दो सुंदर पुरुष निकले वह श्री कृष्ण को प्रणाम कर अपने लोक चले गए। 

वृक्षों के गिरने की आवाज सुनकर मां यशोदा दौड़ी आई और श्री कृष्ण को गोद में उठा गले से लगा लिया।

 7. श्री कृष्ण का गाय चराने जाना 

krishna story:श्री कृष्ण जब थोड़े बड़े हुए तो मां यशोदा से हठ करने लगे कि मुझे बछड़े चराने वृन्दावन के वन में जाना है। मां यशोदा ने बहुत समझाया कि लला अभी तुम बहुत छोटे हैं। घर में इतने नौकर चाकर है तुम को वन में गइया चलाने क्यों जाना है?

 लेकिन जब श्री कृष्ण ने हठ नहीं छोड़ा तो मां यशोदा ने ग्वाल बाल को बुलाकर श्री कृष्ण और बलराम को उनके साथ बछड़े चराने भेज दिया। श्री कृष्ण और बलराम वृन्दावन के वन में यमुना नदी के तट पर बछड़े और गाय चराने जाते थे। 

8. श्री कृष्ण द्वारा अघासुर नामक राक्षस का वध 

krishna story for kids in hindi:कंस ने श्री कृष्ण को मारने के लिए अघासुर नामक दैत्य को भेजा। अघासुर श्री कृष्ण को खाने के लिए अपना भयंकर मुख गुफा के समान फैला कर बैठ गया। श्री कृष्ण के सभी सखा  खेलते-खेलते उसके मुंह में पहुंच गए।

 अजगर रूपी अघासुर ने जब गहरी सांस ली तो सभी सखा अघासुर के पेट में चले गए। सभी डर कर श्री कृष्ण को पुकारने लगे। 

अघासुर इस बात की ही प्रतीक्षा कर रहा था कि कब श्री कृष्ण उसके मुंह में आवे। श्री कृष्ण ने उसके मुंह में जाते ही अपना शरीर बढ़ा लिया। जिससे दैत्य का गला फंस गया और उसकी सांसें रुकने होने लगी, आंखें बाहर आ गई और उसके प्राण निकल गए।

श्री कृष्ण उसका शरीर फाड़ कर बाहर आ गए। अघासुर का शरीर सुखकर गुफा की तरह हो गया जिसमें ग्वाल बाल खेलते थे। श्री कृष्ण ने अघासुर को मोक्ष प्रदान किया। 

9. श्री कृष्ण द्वारा कालिया नाग का दमन करना 

Baccho ke liye krishna story: जब श्री कृष्ण वृन्दावन में रहते थे तब कालिया नाम का नाग यमुना नदी में रहता था। उसके विष के कारण वृन्दावन के पशु पक्षी और वृन्दावन वासी मर रहे थे। श्री कृष्ण ने उस नाग को सबक सिखाने की सोची।

एक बार श्री कृष्ण अपने मित्रों के साथ यमुना के किनारे गेंद से खेल रहे थे। खेलते- खेलते गेंद श्री कृष्ण से नदी में जा गिरी थी। श्री कृष्ण ने कदंब के पेड़ पर चढ़कर नदी में छलांग लगा दी। 

कालिया नाग ने श्री कृष्ण को देखकर उन पर विष फैंकना शुरू किया। लेकिन श्रीकृष्ण पर विष उसका कोई असर नहीं हुआ। श्री कृष्ण ने उसकी पूंछ पकड़कर उसे मारना शुरू किया। 

नाग की बुरी हालत देखकर नाग कन्याओं ने श्री कृष्ण से उसे छोड़ने की प्रार्थना की। उनकी प्रार्थना पर श्री कृष्ण ने उसे एक शर्त पर छोड़ा। श्री कृष्ण ने कालिया नाग को कहा कि उसे यमुना छोड़कर जाना होगा। कालिया नाग ने उनकी बात मान ली। बाहर श्री कृष्ण के सखा उनको बार-बार पुकार रहे थे। मां यशोदा और नंद बाबा का रोकर बुरा हाल था।

लेकिन श्री कृष्ण जब यमुना के बाहर आए तो कालिया नाग के फन पर नाच रहे थे। इस तरह श्री कृष्ण ने वृन्दावन वासियों को और यमुना नदी को कालिया नाग के बिष से मुक्त करवा दिया।

10.श्री कृष्ण का गोवर्धन पर्वत उठाना 

Krishna Stories In Hindi For Kids:एक बार श्री कृष्ण ने वृन्दावन में सभी को पूजा की तैयारी करते देखा। उन्होंने पूछा कि यह किस देवता की पूजा की तैयारी चल रही है। नंद बाबा ने कहा कि इंद्र देव की क्योंकि उनके कारण बारिश होती है।

लेकिन श्री कृष्ण ने बृज वासियों को इंद्र की पूजा छोड़कर गोवर्धन पूजा करने के लिए कहा। श्री कृष्ण का मानना था गोवर्धन पर्वत के कारण ही उनके पशुओं को चारा मिलता है, जिसे खाकर वें दूध देते हैं। गोवर्धन पर्वत ही बादलों को रोककर बारिश करवाता है, जिसके कारण अच्छी फसल होती है। श्री कृष्ण का कहना मानकर बृज बासी गोवर्धन पर्वत की पूजा के लिए तैयार हो गए।

जब इंद्र देव को इस बात का पता चला तो वह क्रोधित हो गए। उन्होंने मूसलाधार बारिश करनी शुरू कर दी। जिस में सब कुछ बहने लगा। श्रीकृष्ण ने तब गोवर्धन पर्वत को अपनी छोटी उंगली पर उठा लिया। सभी ब्रज वासियों को उसके नीचे आने को कहा। इस तरह श्री कृष्ण ने उसकी रक्षा की। इंद्र को अपनी ग़लती का एहसास हुआ और उसने माफी मांगी।‌‌ 

11. श्री कृष्ण द्वारा कंस वध 

Lord Krishna story for kids:नारद जी ने कंस को बता दिया कि नंद और यशोदा का पुत्र ही तुम्हारा वध करेगा। कंस ने देवकी और वसुदेव को पुनः जेल में डाल दिया। उसने अक्रूर जी को दोनों भाइयों को लेने वृन्दावन भेजा। श्री कृष्ण और बलराम अक्रूर जी के साथ मथुरा आ गए। 

 श्री कृष्ण और बलराम को मारने के लिए मथुरा में प्रवेश करते ही कंस ने कुबलयपीड हाथी को श्री कृष्ण पर छोड़ा। श्री कृष्ण ने पल भर में उसको मार दिया। उसके पश्चात कंस ने श्री कृष्ण और बलराम को मल्ल युद्ध के लिए ललकारा। कंस की तरफ से मुष्टिक और चारूण नाम के शक्तिशाली पहलवानों ने भाग लिया। श्री कृष्ण ने चारूण की दोनों भुजाएँ पकड़ कर उसे पृथ्वी पर दे मारा और बलराम ने मुष्टिक को मार दिया।
 
उसके पश्चात श्री कृष्ण ने कंस को ललकारा की तुम्हारे पापों का घड़ा अब भर चुका है। श्री कृष्ण ने कंस को उसके पाप कर्म याद करवाएं। उसके पश्चात श्री कृष्ण ने कंस का वध कर दिया। इस तरह श्री कृष्ण ने मथुरा वासियों को कंस के अत्याचारों से मुक्त करवाया।  

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